बालकनी का एक कोना है
जिसमें गिरते हैं अमलतास के फूल
और हवा से इकट्ठे हो जाते हैं
दूसरे कोने में,
खिड़की के कोने से
एक नयी इमारत दिखती है
जिसके कोने में मशीनें लगी हैं
हड़बड़ी में
चार कोनों से स्थान को घेर लेने में;

बादलों का एक कोना
उमड़ते-घुमड़ते हुये
अचानक ठिठकता है
पीछे मुड़कर देखता है
सड़क के कोने में
एक वर्ग मीटर के चटाई पर बैठी
गुटखा बेंचती हुई एक महिला को
और बरसता नहीं है;

समुद्र तट का एक कोना
जिसमें सीपियाँ भर-भर कर पड़ी हैं
हाँ, तुम कहोगे तो तुम्हारे लिये कुछ रंग-बिरंगी ले आऊंगा
जिन्हें तुम सजाकर रख देना
ड्राइंग-रूम के किसी कोने में;

एक सफ़र है
जिसके कोने में दो शख्स चलते हैं
लेकिन बीच में मिलने तक
वो कुछ और हो चुके होते हैं
एक दूसरे से बचने के लिये कोना खोजते हैं,
सफ़र कहीं कोनों में खोकर समाप्त हो जाता है;

नींद के कोने में
एक सपना उगना अभी शुरू हुआ है
सपने के कोने में
तुम्हारी आवाज़ धीरे-धीरे तेज होती जाती है
मैं सहसा जाग पड़ता हूँ
आँख के कोने से देखता हूँ
नहीं, ऐसा तो कुछ दिखता नहीं है
अँधेरे के कोनों में;

मैं सभी कोनों को
किसी कोने में छिपा नहीं सकता हूँ
मन के कोने से बस देख सकता हूँ
जीवन के किसी कोने में पहुँचकर
सभी कोनों को
ब्रह्म के किसी कोने में सौंप देना होगा।


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